आज सुबह शब्दावली की पोस्ट पर टिप्पणियां देखते समय इरफानजी की यह टिप्पणी नजर आई
मुझे इस टिप्पणी को देखकर लगा कि इरफानजी ने इस तरह लिंक लिखा इसके बजाय अगर उन्होने यहाँ शब्द को उनके पेज का लिंक दिया होता तो कितना सुंदर लगता और पाठक को कॉपी पेस्ट करने के झंझट से बचना होता।
टिप्पणी में लिंक देने का एक तरीका है कि हम इस तरह लिंक दें
<a href="http://tooteehueebikhreehuee.blogspot.com/">यहाँ</a>
अब बार बार टिप्पणी करते समय यह कोड लिखना सबके बस में नहीं होता और ना ही इतना लम्बा कोड किसी को याद ही रहेगा।मुझे कुछ महीनों पहले एक जुगाड मिला था जिससे हम बड़ी आसानी से टिप्पणी में लिंक दे सकते है, और साथ ही टिप्पणी को Bold और Italic भी आसानी से कर सकते हैं। इस जुगाड़ से टिप्पणी में स्माईली आ जाते हैं, परन्तु अभी यह पक्का नहीं है क्यों कि, टिप्पणी में स्माइली उन्हीं को दिखते हैं जिन्होने यह जुगाड़ लगाया है औरों को नहीं।
आईये शुरु करते हैं। यह जुगाड़ उन्हीं के लिये है जो फायरफॉक्स को पसन्द करते हैं। अगर आप IE या अन्य कोई ब्राऊजर पसन्द करते हैं तो आपके लिये यह किसी काम का नहीं।आप सबसे पहले इस पोस्ट को फायरफॉक्स में खोल लें अब नीचे दिये शब्द डाउनलोड पर क्लिक कर लेवें। इस जुगाड़ के लिये आपके फायरफॉक्स में ग्रीस मंकी इन्स्टाल होना जरूरी है
इन्स्टाल कर लेवें, बस हो गया काम किसी पोस्ट को खोले.. किसी और को क्यों इस पोस्ट पर टिप्पणी देनी ही है ना, यहीं से शुभ काम की शुरुआत करें। देखिये टिप्पणी की विन्डो इस तरह दिख रही होगी।
टिप्पणी में आपकी पोस्ट का या अन्य कोई लिंक देने के लिये यहाँ क्लिक करें या अन्य कोई शब्द लिख कर उसे सलेक्ट करें और नीचे दिये तीसरे नंबर के लिंक बटन पर क्लिक करदें, उपर चित्र में दिखाइ दे रही विन्डो खुलेगी और आप उसमें लिंक डाल कर ok पर क्लिक कर देवें; टिप्पणी में लिंक कोड आ चुका है, चाहें तो प्रीव्यू देख लें।
इसी तरह शब्द को सलेक्ट कर Bold या Italic करें।
यह पोस्ट लिखने का आईडीया दीपक की पोस्ट से मिला।
12 टिप्पणियाँ:
किसी भी पेज का लिंक कोड बनाने के लिये पिटारा पर केवल एक क्लिक करना होता है।
इसके बारे में विस्तार से यहां पढ़ सकते हैं
कुछ मजेदार और काम के टूल - 2
महाराज, बड़ी अच्छी सहूलियत है, मगर यह तो बताता है इज़ नॉट अवेलेबल फॉर विंडोज़? फिर?
अच्छी सहूलियत है.
वाह जी वाह! :D :( बहुत अच्छी जानकारी. मजा आया.
लिंक किसे करूँ? मेरा चिट्ठा यह है. ;)
dhnywaaad----upyogi jaankari hai-
महत्वपूर्ण जानकारी। देखे हम इस्तेमाल कर पाते है या नही।
जय जुगाड़ गुरू!
वाहयह कमेण्ट जुगाड़ इन्स्टाल कर किया है! यह रहा मेरा ब्लॉग और यह स्माइली!:)
स्माइली शायद न दिखे!
अरे वाह मज़ा आ गया गुरूदेव । जे तो अच्छी रही । :P ये लगाई स्माइली । और हां सबने लिंक दी है तो हम भी देते हैं अपने ब्लॉग की नहीं, ये रही HTML CENTER की लिंक । अच्छी सी साईट है ये ।
ये लो जी मेरी लिंक
यह तो सिर्फ़ अग्निलोमड़ वालों के लिये है, हमारा क्या?
bahut kaam kee jaanakaaree ha
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